बवासीर में क्या खाएं और क्या ना खाएं | खूनी बवासीर में परहेज

जब बवासीर की बात आती है, जिसे पाइल्स के रूप में भी जाना जाता है, अक्सर लोगो को खाने को लेकर कंफुसजन हो जाती है। वो इस संशय में रहते है कि बवासीर में क्या खाएं और क्या ना खाएं। आइए जानते है बवासीर के दौरान क्या खाना चहिये।

बवासीर में क्या खाएं (Bawasir Me Kya Khaye)

बवासीर में क्या खाएं और क्या ना खाएं
  • उच्च फाइबर खाद्य पदार्थ:- साबुत अनाज, फल और सब्जियों जैसे उच्च फाइबर वाले खाद्य पदार्थों का सेवन मल को नरम कर देता है और मल त्याग को आसान बना सकता है। फाइबर के सेवन से मलाशय पर तनाव कम होता है, जिससे बवासीर कम होता है।
  • पानी:- खूब पानी और अन्य तरल पदार्थ पीने से कब्ज को रोकने और नियमित मल त्याग सुनिश्चित करने में मदद मिल सकती है। जिससे बवासीर के विकास का जोखिम भी कम होता है।
  • लीन प्रोटीन:- चिकन, मछली और बीन्स जैसे लीन प्रोटीन से भरपूर खाद्य पदार्थ कब्ज या जलन पैदा किए बिना जरूरी न्यूट्रिएंट्स प्रदान करते हैं।
  • अच्छा फैट:- एवोकाडोस, नट्स और जैतून के तेल जैसे स्वस्थ फैट का सेवन मल त्याग को नियमित रखने और सूजन को कम करने में मदद करता है।
  • फ्लेवोनोइड्स से भरपूर खाद्य पदार्थ:- खट्टे फल, जामुन और गहरे पत्ते वाले साग जैसे खाद्य पदार्थों में फ्लेवोनोइड्स भरपूर मात्रा में होता हैं जो सूजन को कम करने और ब्लड सर्कुलेशन में सुधार करने में मदद करता हैं।

चलिए अब जानते है की बवासीर में क्या ना खाएं (Piles Me Kya Nahi Khana Chahiye)

Piles Me Kya Nahi Khana Chahiye (बवासीर में क्या ना खाएं)

मसालेदार और तले हुए खाद्य पदार्थ:- ये पाचन तंत्र को खराब कर सकते हैं और कब्ज पैदा कर सकते हैं, जो बवासीर को और भी बदतर बना देता हैं।

  • प्रोसेस्ड फ़ूड :- ये अक्सर फाइबर में कम और वसा में उच्च होते हैं, जो कब्ज को बढाने और बवासीर को जन्म देने का काम करते है।
  • रेड मीट:- रेड मीट को पचाना मुश्किल होता है और इससे बवासीर के लक्षण और अधिक बिगड़ सकते हैं।
  • डेयरी उत्पाद:- पनीर और आइसक्रीम जैसे डेयरी उत्पादों से कब्ज हो सकता है, जो बवासीर को बढ़ा सकता है।
  • कैफीन और अल्कोहल:- ये शरीर को डिहाइड्रेट कर सकते हैं और कब्ज को बदतर बना सकते हैं, जो बवासीर को बढ़ाने का काम करता हैं।

खूनी बवासीर में परहेज

  • गंभीर रक्तस्राव:- यदि रक्तस्राव गंभीर और लगातार हो रहा है, तो तुरन्त चिकित्सा ध्यान देना जरूरी है। कुछ मामलों में, रक्तस्राव को नियंत्रित करने के लिए सर्जरी की आवश्यक हो सकती है।
  • गर्भावस्था और स्तनपान:- गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को खूनी बवासीर के लिए कुछ दवाओं से बचना चाहिए, क्योंकि वे भ्रूण या नवजात शिशु के लिए हानिकारक हो सकती हैं।
  • एलर्जी:- यदि आपको खूनी बवासीर के लिए उपयोग की जाने वाली किसी भी दवा या ट्रीटमेंट से एलर्जी है, तो आपको उनसे बचना चाहिए और उनके विकल्पों की तलाश करनी चाहिए।
  • चिकित्सीय स्थितियाँ:- कुछ चिकित्सीय स्थितियों वाले लोग, जैसे कि लिवर सम्बन्धी रोग, गुर्दे की बीमारी और हृदय रोग, वाले मरीजो को विशेष ध्यान रखना चहिये।
  • दालों, राजमा से रहे दूर:- यदि आप पाइल्स से ग्रसित है तो ऐसे में आपको राजमा और मसूर जैसी दालों का सेवन करने से बचना चहिये।
  • घी, तेल का सीमित सेवन:- पाइल्स के मरीजो को यह सलाह दी जाती है कि वो घी और तेल का सेवन न ही करे और यदि करते है तो बिल्कुल सीमित मात्रा में करे।

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तो दोस्तों एक आर्टिकल में हमने जाना की बवासीर में क्या खाएं और क्या ना खाएं इसके साथ खूनी बवासीर में परहेज क्या करे इसके बारे में बताया है। अब हमे उम्मीद है की आपको इस विषय में सभी जानकारी मिल गई होगी।

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